आज दुनिया की स्थिति हमें सिखाती है कि एक (आत्मनिर्भर भारत) “आत्मनिर्भर भारत” ही एकमात्र मार्ग है। खाद्य प्रसंस्करण उद्योग मंत्रालय (एमओएफपीआई) ने खाद्य प्रसंस्करण उद्योग के असंगठित क्षेत्र में मौजूदा व्यक्तिगत सूक्ष्म उद्यमों की प्रतिस्पर्धात्मकता को बढ़ाने और इस क्षेत्र के औपचारिककरण को बढ़ावा देने के उद्देश्य से आत्मनिर्भर भारत अभियान के तहत पीएम एफएमई योजना शुरू की है। यह योजना 2020-21 से 2024-25 तक पांच वर्षों की अवधि में 10,000 करोड़ रुपये के कुल परिव्यय के साथ लागू की जाएगी।
इस स्कीम में कृषि-खाद्य प्रसंस्करण में लगे समूहों जैसे कि किसान उत्पादक संगठनों (एफपीओ), स्वयं सहायता समूहों (एसएचजी) और उत्पादक सहकारी समितियों को उनकी संपूर्ण मूल्य श्रृंखला के साथ सहायता प्रदान करने पर विशेष ध्यान दिया गया है। खाद्य प्रसंस्करण उद्योग मंत्रालय (एमओएफपीआई), राज्य/संघ राज्य क्षेत्र सरकारों के साथ साझेदारी में मौजूदा सूक्ष्म खाद्य प्रसंस्करण उद्यमों के उन्नयन के लिए वित्तीय, तकनीकी और व्यावसायिक सहायता प्रदान करेगा।